( गगन थिंद ) कैथल में लघु सचिवालय में बिना हेलमेट एंट्री पर रोक लगा दी गई है। ट्रैफिक पुलिस ने शुक्रवार को इसको लेकर कार्रवाई तेज कर दी है। पुलिस ने यातायात नियमों की अनदेखी करने वालों की एक सूची तैयार की। इसमें 46 लोगों में सरकारी कर्मचारी, जजों के रीडर और वकीलों के नाम शामिल हैं। ट्रैफिक पुलिस ने आज 46 कर्मियों की लिस्ट तैयार की। इसे अब कार्रवाई के लिए डीसी को भेजा जाएगा।
जानकारी के अनुसार, कैथल की डीसी प्रीति ने हाल ही में आदेश जारी किया था कि बिना हेलमेट पहनने वालों को कैथल के जिला सचिवालय में प्रवेश की अनुमति नहीं दी जाएगी। इस कदम का उद्देश्य सड़क सुरक्षा को बढ़ावा देना और हेलमेट पहनने की आदत को प्रोत्साहित करना है। शुक्रवार को ट्रैफिक पुलिस ने सचिवालय में कार्रवाई शुरू कर दी। यहां पर जो कर्मचारी या अधिकारी बिना हेलमेट के बाइक या स्कूटी पर आया, उनकी लिस्ट तैयार की गई।
आदेशों का उल्लंघन करने वालों में कौन शामिल
हैरानी की बात ये है कि आम जनता से ज्यादा नियमों की अनदेखी सरकारी विभागों के कर्मचारी, जजों के रीडर व एडवोकेटस द्वारा की जा रही है। जबकि यह नियम सभी के लिए समान रूप से लागू है, परंतु प्रशासन ने पाया कि सरकारी संस्थानों से जुड़े लोग ही इसकी सबसे अधिक अवहेलना कर रहे हैं। ट्रैफिक पुलिस ने 46 कर्मचारियों की लिस्ट तैयार की है। हालांकि इनमें संख्या बढ़ने की पूरी संभावना है।
प्रशासन की कड़ी कार्रवाई
डीसी के आदेश के बाद ट्रैफिक पुलिस ने सख्त निगरानी शुरू कर दी है। सचिवालय के प्रवेश द्वारों पर पुलिसकर्मी तैनात किए गए हैं, जो हेलमेट पहनकर आने वाले व्यक्तियों को ही प्रवेश की अनुमति दे रहे हैं। ट्रैफिक पुलिस द्वारा इसका रिकॉर्ड एकत्रित किया जा रहा है। जिसको संबंधित विभाग को भेजकर उनसे स्पष्टीकरण मांगा जाएगा।
जनता की प्रतिक्रिया
आम जनता ने इस फैसले की सराहना की है। उनका कहना है कि यह नियम सभी के लिए समान होना चाहिए और जो लोग इसका पालन नहीं कर रहे हैं, उन पर सख्त कार्रवाई होनी चाहिए। सड़क सुरक्षा को लेकर जिला प्रशासन का यह कदम एक सकारात्मक पहल है। यह जरूरी है कि सभी लोग, चाहे वे किसी भी पद पर हों, नियमों का पालन करें। हेलमेट पहनने से न केवल कानून का सम्मान होता है, बल्कि यह जीवन की सुरक्षा के लिए भी अनिवार्य है।