कैथल (RICHA DHIMAN) नशा मुक्त मुहिम के लिए हरियाणा पुलिस द्वारा बकेट चैलेंज शुरू किया गया है। इस मुहिम तहत पुलिस रोजाना लोगो से बाल्टी में भरा गंदा पानी फिकवा कर आमजन को नशा त्यागने का संदेश दे रही है। एसपी राजेश कालिया के आदेशानुसार नशा जागरूकता टीम में शामिल पीएसआई रामलाल, एएसआई ओमप्रकाश, एचसी सुनील कुमार व होमगार्ड शमशेर सिंह की टीम प्रतिदिन विभिन्न गांवों में जाकर आमजन को नशा ना करने बारे जागरूक कर रही है।
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नशे के विरुद्ध विद्रोह जताने का बना नया तरीका
बाल्टी में गंदे पानी को फेंकना केवल एक प्रतीकात्मक क्रिया नहीं, बल्कि नशे के विरुद्ध विद्रोह जताने का एक नया तरीका बन चुका है। एसपी राजेश कालिया ने जानकारी देते हुए बताया कि हरियाणा पुलिस द्वारा चलाया गया बैकेट चैलेंज अभियान यह केवल जागरूकता तक सीमित नहीं है, बल्कि इसे कानूनी कार्रवाई और सामुदायिक भागीदारी से भी जोड़ा गया है। पुलिस ने सैंकड़ों मामले दर्ज किए हैं, कई बड़े ड्रग माफियाओं को गिरफ्तार किया है और नशे के नेटवर्क को ध्वस्त करने के लिए नए कदम उठाए हैं। लेकिन असली लड़ाई तब तक नहीं जीती जा सकती जब तक समाज नशे को पूरी तरह अस्वीकार्य नहीं बना देता। हरियाणा सरकार अब सिर्फ छोटे-मोटे नशा बेचने वालों को नहीं, बल्कि पूरे नेटवर्क को ध्वस्त करने की रणनीति पर काम कर रही है।
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2024 में 83 मामलों में 123 नशा तस्कर किए काबू
कैथल पुलिस द्वारा वर्ष 2024 दौरान 83 मामलों में 123 नशा तस्कर काबू किए गए है। लेकिन इस लड़ाई को केवल पुलिस के भरोसे नहीं छोड़ा जा सकता। यही कारण है कि इस अभियान में गांवों और स्कूलों को विशेष रूप से शामिल किया गया है। नशा मुक्ति के लिए यह लड़ाई आसान नहीं है। भले ही गिरफ्तारियां हो रही हैं, ड्रग्स जब्त हो रहे हैं, तस्करों पर शिकंजा कस रहा है- लेकिन असली बदलाव तब आएगा जब लोग नशे को पूरी तरह से ठुकरा देंगे। अगर हर मां-बाप यह तय कर लें कि उनका बेटा या बेटी नशे से दूर रहेगा, अगर हर गांव यह संकल्प सौदागरों को अपने इलाके में घुसने नहीं देगा, अगर हर स्कूल यह तय कर ले कि उसके छात्रों को ड्रग्स के बारे में सही जानकारी दी जाएगी तब जाकर यह समस्या खत्म हो सकेगी। जब तक समाज नशे के खिलाफ एकजुट होकर खड़ा नहीं होगा, तब तक यह लड़ाई अधूरी रहेगी। ‘बकेट चैलेंज’ सिर्फ नशे के खिलाफ एक अभियान नहीं, बल्कि एक नई सोच, एक नया संकल्प और एक नए हरियाणा की कहानी लिखने की शुरुआत है।