हरियाणा के हिसार में बरवाला व हिसार खंड 2 का कार्यभार संभाल रहे पंचायत एवं खंड विकास अधिकारी भगवान दास को सस्पेंड कर दिया गया है। पंचायत विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव अमित झा ने इस बारे में आदेश जारी किए हैं। जारी आदेशों के अनुसार बीडीपीओ भगवानदास को तुरंत प्रभाव से सस्पेंड किया गया है। सस्पेंड पीरियड के पहले छह महीने के दौरान भगवान दास को आधी सैलरी दी जाएगी।
सूत्रों से प्राप्त जानकारी के अनुसार, गांवों की पंचायतें भंग होने के बाद पंचायत खातों में बचे हुए फंड की बड़े लेवल पर गड़बड़ियां हुई थी। इन गड़बड़ियों के बारे में बरवाला से विधायक जोगीराम सिहाग ने हिसार उपायुक्त डॉ प्रियंका सोनी से जानकारी मांगी थी। इसके अलावा पंचायतों के विकास कार्यों के अलावा गांवों में बने जोहड़ों की मच्छली पालन के लिए करवाई गई बोलियों में भी बीडीपीओ की संदिग्ध भूमिका पाई गई है।
अब सस्पेंड हुए बीडीपीओ भगवानदास किसी समय में हिसार के 9 ब्लॉक में से पांच का अकेले ही चार्ज संभाले हुए थे। लगातार हो रही शिकायतों के बावजूद उन पर अभी तक कोई कार्रवाई नहीं हुई थी। इस बारे में पक्ष जानने के लिए बीडीपीओ भगवान दास से कई बार फोन पर संपर्क करने का प्रयास किया गया, लेकिन उनसे संपर्क नहीं हो पाया।
हाल ही में बीडीपीओ भगवानदास पर सचिव देवेंद्र सिंह ने दो लाख रुपए मांगने का आरोप लगाया था। गांव किराड़ा में पंचायती फंड गबन मामले में बीडीपीओ भगवान दास ने ग्राम सचिव देवेंद्र के खिलाफ अग्रोहा थाना में एफआईआर दर्ज करवाई थी। इसको लेकर ग्राम सचिव देवेंद्र ने बताया कि बीडीपीओ भगवान दास ने उसे हिसार अपने घर बुलाया और उससे दो लाख रुपए की मांग की। इस पर उसने कहा कि जब उसने कुछ किया ही नहीं तो वह किस बात के रुपए दे।
इस पर बीडीपीओ भगवान दास ने कहा कि यदि उसने उसे दो लाख रुपए नहीं दिए तो वह उसके खिलाफ रिर्पोट सरकार को लिख देगा। जब उसने बीडीपीओ की मांग को अस्वीकार कर दिया तो बीडीपीओ ने उसके खिलाफ अग्रोहा थाना में मामला दर्ज करवा दिया। खंड अग्रोहा के गांव किराड़ा में विकास कार्य के नाम पर अधिकारियों द्वारा पंचातयी फंड से बिना कोई एस्टीमेट तैयार किए बिना कोई पंचायत रजिस्टर में कार्रवाई लिखे बिना कोई प्रस्ताव पास किए सरकारी फंड 5.80 लाख रुपए फर्जी तरीके से निकाल लिए गए थे।