( गगन थिंद ) एक तरफ जहां राज्य सरकार सूबे में कानून व्यवस्था को सही से लागू करने के साथ-साथ आम जनता और पुलिस के बीच रिश्ते को बेहतर करने की कोशिश कर रही है. वहीं दूसरी तरफ कानून के रखवाले सरकार की नाक के नीचे आम जनता को ही लूट रहे हैं और उनके साथ गुंडागर्दी कर रहे हैं. ताजा मामला नोएडा के बिसरख थाना क्षेत्र का है, जहां ट्रेनी एसआई द्वारा कैब चालक के साथ लूट करने के मामले ने हर किसी को हैरान कर दिया. वहीं हैरानी तो तब हुई, जब ट्रेनी एसआई के खिलाफ कार्रवाई करने की जगह उसकी करतूतों को पुलिस छिपाने में लग गई थी. कथित तौर पर ट्रेनी एसआई ने अपने साथियों के साथ कैब ड्राइवर को तो लूटा ही. वहीं उसकी महिला पैसेंजर को कॉल गर्ल तक बोल दिया.
पुलिस सूत्रों के मुताबिक घटना वाले दिन यानी कि 2 अगस्त को ट्रेनी दारोगा और उसके दोनों दोस्तों ने शराब पी रखी थी. इन्होंने कैब में सवार महिला को जबरन अपनी गाड़ी में बैठाकर उसे कॉलगर्ल कहा और अभद्र व्यवहार किया था. कैब चालक ने इस मामले की शिकायत की तो समझौता करने के लिए प्रेशर डाला. बिसरख चौकी के इंचार्ज ने ट्रेनी दारोगा अमित मिश्रा को बुलाकर पीड़ित के सामने शिनाख्त भी कराई लेकिन कार्रवाई नहीं की. साथ ही कैब ड्राइवर को डराया भी गया.
हालांकि अब बर्खास्त ट्रेनी सब-इंस्पेक्टर अमित मिश्रा को गुरुवार को कोर्ट में पेश करने के बाद जेल भेज दिया गया. इस मामले में पुलिस ने आनन-फानन में बुधवार की देर रात को कार्रवाई करते हुए डीसीपी सुनीति, इंस्पेक्टर अरविंद कुमार, ट्रेनी एसआई अमित मिश्रा को निलंबित कर दिया. पुलिस ट्रेनी एसआई अमित मिश्रा के दो साथियों की तलाश में जुटी हुई है.